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मोहब्बत हासिल करने का सूरह कुरैश वजीफा
मोहब्बत हासिल करने का सूरह कुरैश वजीफा – Mohabbat Hasil Karne Ka Surah Quraish Wazifa, आज हम आपको ऐसा वज़ीफ़ा बतायेगे जिसका नाम अपने शायद ही सुना होगा, इसे सूरह कुरैश वजीफा कहते है, ये सबसे ताकतवर वज़ीफ़ा है. आज हम आपको शोहर की मोहब्बत के लिए सूरह कुरैश का वजीफा और पसंद की शादी के लिए सूरह कुरैश का वजीफा बताने जा रहे है. इसके अलावा हम आपको बीवी का प्यार पाने के लिए सूरह कुरैश वजीफा भी बतायेगे।
Mohabbat Hasil Karne Ka Surah Quraish Wazifa
इस्लाम धर्म के र्कुआन-ए-पाक में एक-से बढ़कर-एक वजीफे दिए गए हैं, जिनकी बदौलत इम्पासिबल को पाॅसिबल बनाया जा सकता है। इन्हीं में एक सूरेह कुरैश का वजीफा भी है-
लि इलाफि कुरैश, इलाफिहिम रिहलतश शिताई वस सैफ, अल्लजी अत अमहुम मिन जुआ व आम नहुम मिन खौफ।
इस वजीफे में इतनी ताकत है कि यह दूर-दाराज में बैठे लोगों के दिलों के तार जोड़ देता है। यह कहें कि उनमें जबरदस्त आपसी मोहब्बत पैदा कर देता है। महबूब या महबूबा चाहे कितना भी क्यों न एक-दूसरे से मिलने को बेचैन हों, लेकिन नहीं मिल पा रहे हों।
उनके लिए मोहब्बत पाने का सूरेह कुरैश वजीफ बेहद फायदेमंद साबित होता है। इस वजीफे की बदौलत खोया हुआ प्यार हासिल किया जा सकता है तो शौहर या बीवी की मोहब्बत में जान डाली जा सकती है। पसंद की शादी के लिए भी यह वजीफा बहुत कारगर है। इसे पढ़ने के तरीके इस प्रकार बताए गए हैं-
- सबसे पहले फज्र की नमाज को पढ़ें और ताजा वुजू बना लें। फिर दारूदे पाक को 11 बार पढ़ें।
- उसके बाद सुरेह कुरैश को 111 बार पढ़ें। फिर दरूदे पाक को दोबारा 11 बार पढ़ लें। अंत मं अल्लाहाताला से अपने मोहब्बत की दुआ करें।
- इस वजीफे को लगातार 41 दिनों तक करें। हर रोज जब भी वजीफे के लिए बैठें तब अपने पोजेटिव एनर्जी अर्थात मोहब्बत पाने के प्रति आश्वस्त होने का आत्मविश्वास बनाएं।
शौहर की मोहब्बत के लिए सूरह कुरैश का वजीफा
शौहर की मोहब्बत के लिए सूरह कुरैश का वजीफा – Shohar Ki Mohabbat Ke Liye Surah Quraish Ka Wazifa, शादीशुदा जोड़े की पहली ख्वाहिश रहती है कि उनके बीच बेपनाह मोहब्बत बना रहे। उनके आपसी प्यार पर किसी की नजर नहीं लगे। खासकर बीवी कभी भी नहीं चाहती है कि उसके शौहर की मोहब्बत पर किसी भी तरह की आंच नहीं आने पाए, या कोई दूसरी औरत उसके शौहर की मोहब्बत पर कब्जा न जमा ले।
मोहब्बत की हिफाजत के लिए र्कुआन-ए-पाक में एक बेहतरीन सूरह कुरैश का वजीफा बताया गया है। दुआ की इस 192 रकत को गुलाब के फूलों के साथ पढ़ा जाता है। ऐसी मान्यता है कि इससे गुलाब के खूशबू की तरह मोहब्बत की खूशबू शौहर और बीवी के जेहन में बनी रहेगी। मौलवी द्वारा बताए गए तरीके के अनुसार इसे पढ़ने का तरीका इस प्रकार होता है-
Shohar Ki Mohabbat Ke Liye Surah Quraish Ka Wazifa
- पाक-साफ होकर वुजू बनाएं और नमाज के लिए बैठ जाएं।
- अपना मुंह काबा शरीफ की तरफ करें। फिर दरूद शरीफ को 11 बार पढ़ें।
- उसके बाद सूरह कुरैश की आयत को 1111 मर्तबा पढ़ें। फिर दरूदे शरीफ को दोबारा 11 बार पढ़ें।
- अंत में साथ रखे गुलाब के फूल को दोनों हथेली पर रखकर अल्लाहताला से दुआ करें।
- उसके बाद गुलाब अपने शौहर को भेंट कर दें या फिर उनकी किसी प्रिय वस्तु के साथ रख दें।
- इसके अतिरिक्त सात दिनों तक चलते-फिरते, उठते-बैठते हर वक्त अपनी दुआ को ही जेहन में बनाए रखें।
- औरतों को इस वजीफे के करने संबंधी हिदायत दी गई है कि माहवारी के दौरान इसे कतई नहीं करें।
पसंद की शादी के लिए सूरह कुरैश का वजीफा
पसंद की शादी के लिए सूरह कुरैश का वजीफा – Pasand Ki Shadi Ke Liye Surah Quraish Wazifa, मनपसंद शादी के लिए कई वजीफे बताए गए हैं। कुछ वजीफे लड़का और लड़की के लिए खास होते हैं, जबकि सूरह कुरैश का वजीफ दोनों के लिए उपयोगी है। इस वजीफे की मियाद 40 दिनों की होती है,
जिसके लिए इस्लाम की इबादतों के नियमों का पालन काफी पाक-साफ और नेक नीयत के साथ करना होता है। इस वजीफे को उन्हें ही करने की सलाह दी जाती है, जो वास्तव में अपने महबूब या महबूबा से मोहब्बत करते हैं। अगर इकतरफा प्यार है तो इसका असर कुछ नहीं होता है, उल्टे शादी में और भी देरी हो जाती है।
Pasand Ki Shadi Ke Liye Surah Quraish Wazifa
- इसकी शुरूआत जुमे की नमाज से करना ज्यादा अच्छा रहता है। साथ में जिससे शादी की इच्छा है, उसकी तस्वीर रखें।
- ऊपर बताए गए पसंद की शादी के लिए सूरह कौशर के आयत को 141 बार पढ़ने से पहले और अंत में दरूदे शरीफ को कम से कम 7 मर्तबा पढ़ना जरूरी है।
- इसके साथ ही सूरह कौशर से निकाह संबंधी बंद किस्मत का ताला तभी खुल पाएगा यदि मगरिब की नमाज अदा करने के बाद दो रकत निफ्ल नमाज अदा कर ली जाए। इससे शादी या रिश्ते में आई रूकावटें दूर हो जाती हैं।
- फिर कम से कम 300, 500 या 1100 बार अल्लाह जल्ला जलालूहू का इस्म मुबारक कर लें। इसे हर रोज बराबर संख्या में पढ़ें।
- हर रोज अंत में अल्लाहताला से पसंद की निकाह के लिए दुआ करें। तीन सप्ताह के भीतर ही निकास संबंधी शुभ सूचना मिल सकती है, जबतक निकाह नहीं हो जाए तब वजीफे को पढ़ना जारी रखें।
बीवी का प्यार पाने के लिए सूरह कुरैश का वजीफा
बीवी का प्यार पाने के लिए सूरह कुरैश का वजीफा – Biwi Ka Pyar Pane Ke Liye Surah Quraish Wazifa, मियां-बीवी में अनबन होना कोई नई बात नहीं है। ऐसा होने पर कई बार शौहर को लगता है कि उसकी बीवी के दिल में उसके प्रति प्रेम कम हो गया है।
अगर किसी को अपनी बीवी से इस बात की शिकायत है कि वह अब पहले जितना प्यार नहीं करती है, तो उसे र्कुआन पाक का सूरह कुरैश वजीफ नियमित तौर पर पढ़ना चाहिए।
ध्यान रहे यह अमल सिर्फ वैसे दंपति के लिए है, जो एक-दूसरे से प्यार करते हैं। जिंदगी की परिस्थितियों की वजह से उनके प्यार में कुछ अड़चनें आ गई हों। तरीका इस प्रकार बताया गया है-
Biwi Ka Pyar Pane Ke Liye Surah Quraish Wazifa
- यह वजीफा मियां-बीवी में प्यार पैदा करने का प्रभावशाली अमल है। इससे रूठी हुई बीवी के दिल में पागल करने जैसे प्यार पैदा हो जाता है।
- वुजू बनाकर रात को सोने से पहले वजीफे की तैयारी करें।
- सूरह कुरैश की आयत को पढ़ने से पहले दरूदे शरीफ 21 बार पढ़ें। उसके बाद इस वजीफे को 1100 बार पढ़ें।
- अंत में दरूदे शरीफ को फिर से 21 बार पढ़ लें। इसकी कोई मियाद नहीं है, लेकिन इसे तबतक लगातार पढ़ना चाहिए जबतक कि बीवी के दिल में प्यार न उमड़ आए।
- वजीफे के अंत में किसी मिठी वस्तु पर दम करें और उसे बीवी को खिला दें।
- जब आप अल्लाह से दुआ कर रहे हों तब दूसरे वजीफे या वदूदो, या बुद्दु हो, या लतीफे को भी आधी रात के वक्त 900 बार पढ़ लें। इसके पहले और अंत में दरूदे शरीफ को 11-11 बार पढ़ना जरूरी है।
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